आओ लिखें होली पर अनुच्छेद (Holi Per Anuchchhed) : होली हिंदुओं का प्रमुख त्योहार है। जो कि पूरे भारतवर्ष में बहुत ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। यह त्योहार फाल्गुन मास की पूर्णिमा को मनाया जाता है। इसे रंगों का त्योहार भी कहा जाता है। इस दिन लोग एक दूसरे के घर जाकर एक दूसरे को गुलाल लगाते हैं और गले मिलते हैं। लोग इस दिन पुरानी कटुता भुलाकर फिर से दोस्त बन जाते हैं। बच्चे भी इस त्यौहार का बेसब्री से इंतजार करते हैं।

इस दिन भी पकवान मिठाईयां और विशेष रूप से गुजिया बनाई जाती है। लोग रंग खेलने के बाद नहा कर शाम को एक दूसरे के घर मिठाई देने जाते हैं। यह त्योहार आपसी प्रेम व भाईचारे का संदेश भी देता है। इस दौरान धार्मिक और फाल्गुन गीत भी गाये जाते हैं। होली से एक दिन पहले होलिका दहन किया जाता हैं।
इस त्यौहार को हमें किसी पर कीचड़ या केमिकल युक्त रंग नहीं लगाना चाहिए। यह सब करने से हमें सिर्फ नुकसान ही होगा। इन सब की जगह पर हमें केवल प्राकृतिक रंग का प्रयोग करना चाहिए।
Holi Per Anuchchhed
होली का त्योहार मनाने के पीछे एक प्राचीन इतिहास है। प्राचीन समय में हिरण्यकश्यप नाम का एक असुर था जो भगवान विष्णु को विरोधी था। उसकी एक दुष्ट बहन थी जिसका नाम होलिका था। कश्यप के पुत्र प्रहलाद भगवान विष्णु के बहुत बड़े भक्त थे। इसी कारण कश्यप ने अपनी बहन होलिका से पुत्र प्रहलाद को जान से मारने के लिए लेकर आग में बैठने की कहा क्योंकि होलिका को आग में न जलने का वरदान प्राप्त था। उसके बाद होलिका प्रहलाद को लेकर चिता में बैठ जाती हैं। लेकिन प्रहलाद आग में सुरक्षित बचे रह जाते हैं जबकि होलिका उसी चिता में जलकर भस्म हो गई।
आप सभी को Jobalerthindi.com की ओर से होली की बहुत-बहुत शुभकामनाएं!